Nazar Nazar Se Milaa Kar Sharab Peete Hain.
नज़र नज़र से मिलाकर शराब पीते हैं,
हम उनको पास बिठाकर शराब पीते हैं ।
इसीलिये तो अँधेरा है मयकदे में बहुत,
यहाँ घरों को जलाकर शराब पीते हैं ।
हमें तुम्हारे सिवा कुछ नज़र नहीं आता,
तुम्हें नज़र में सजाकर शराब पीते हैं ।
उन्हीं के हिस्से आती है प्यास ही अक्सर,
जो दूसरों को पिलाकर शराब पीते हैं ।
हम उनको पास बिठाकर शराब पीते हैं ।
इसीलिये तो अँधेरा है मयकदे में बहुत,
यहाँ घरों को जलाकर शराब पीते हैं ।
हमें तुम्हारे सिवा कुछ नज़र नहीं आता,
तुम्हें नज़र में सजाकर शराब पीते हैं ।
उन्हीं के हिस्से आती है प्यास ही अक्सर,
जो दूसरों को पिलाकर शराब पीते हैं ।
- Tasneem Faaruqi.
- Jagjit Singh.